हरियाणा का एक ऐसा मंदिर , जहां मन्नत पूरी होने पर भेंट किये जाते है घोड़े,पांडवों और माता सती से ताल्लुक

हिन्दू धर्म में कई ऐसे भगवन हैं, जिन्हे खुश करने के लिए श्रद्धालुओं द्वारा अलग अलग भेंट चढ़ाई जाती हैं। किसी को दूध, किसी को भांग तो किसी को बकरा। मगर आज हम ऐसे मंदिर के बारे में जानेंगे जहां मन्नते पूरी होने की ख़ुशी में घोड़ को भेंट स्वरुप चढ़ाया जाता हैं। हरियाणा के कुरुक्षेत्र में बने श्रीदेवी कूप भद्रकाली मंदिर में भद्रकाली शक्तिपीठ में देवी सती का दाए पैर का टखना (घुटने के नीचे का भाग) गिरा था।

इसका महत्व तब और बढ़ जाता है, जब इसमें श्रीकृष्ण का जिक्र शामिल हो जाता है। कहा जाता है कि भद्रकाली शक्तिपीठ में श्रीकृष्ण और बलराम का मुंडन हुआ था। ये भी माना जाता है कि महाभारत युद्ध में विजय का आशीर्वाद लेने पांडव श्रीकृष्ण के साथ यहां आए थे। मन्नत पूरी होने के बाद पांडवों ने मंदिर में आकर घोड़े दान किए थे। तब से घोड़े दान करने की प्रथा चली आ रही है।

प्रवेश द्वार पर बना कमल का फूल


मंदिर के पीठाध्यक्ष के अनुसार भद्रकाली मंदिर मां देवी काली को समर्पित है। भद्रकाली शक्ति पीठ सावत्री पीठ के नाम से प्रसिद्ध है। भद्रकाली मंदिर में देवी काली की प्रतिमा स्थापित है तथा मंदिर में प्रवेश करते ही बड़ा कमल का फूल बनाया गया है, जिसमें मां सती के दायें पैर का टखना स्थापित है जोकि सफेद संगमरमर से बना है।

कुएं में गिरा था माता सती का दायां टखना

पौराणिक कथाओं के अनुसार, देवी सती ने उनके पिता दक्षेस्वर द्वारा किये यज्ञ कुण्ड में अपने प्राण त्याग दिये थे। तब भगवान शंकर देवी सती के मृत शरीर को लेकर ब्रह्मांड चक्कर लगा रहे थे। भगवान विष्णु ने सुदर्शन चक्र से सती के शरीर को 51 भागों में विभाजित कर दिया था।

इसमें से सती का दाया टखना इस स्थान पर गिरा। सती का दायें टखना इस मंदिर में बने कुएं में गिरा था, इसलिए इसे मंदिर को श्री देवीकूप मंदिर भी कहा जाता है।

पांडवों से किये थे घोड़े दान

मान्यता है कि महाभारत काल में श्रीकृष्ण पांडवों के साथ इस मंदिर में आए थे। उन्होंने विजय के लिए मां से मन्नत मांगी थी। युद्ध में विजय हासिल करने के बाद पांडवों ने मंदिर में आकर घोडे दान किये थे, तब से यही प्रथा चलती आ रही है।

चार टन फूल और आठ क्विंटल फल से सजावट

नवरात्रि में इस मंदिर का खास महत्व होता है। इस नवरात्रि में मंदिर को चार टन देसी विदेशी फूलों और आठ क्विंटल फलों से सजाया गया है। इसके अलावा आकर्षक लाइट लगाई गई हैं।

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